
राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अरावली पहाड़ियों की सुप्रीम कोर्ट की नई परिभाषा पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि यह अवैध खनन संचालकों के लिए "लाल कालीन" है और "पारिस्थितिकी विनाश के लिए सीधा निमंत्रण" है। उन्होंने राष्ट्रव्यापी 'सेव अरावली' अभियान के समर्थन में अपनी सोशल मीडिया प्रोफ़ाइल तस्वीर बदल दी। विशेष रूप से, नए फैसले के तहत, 100 मीटर से कम ऊंची पहाड़ियों को अब अरावली प्रणाली के हिस्से के रूप में मान्यता नहीं दी जाएगी।